(Quotes by Buddha in Hindi, best Goutam Budhha quotes in hindi) Gautam Buddha राजा शुद्धोधन के बेटे थे जिनके बचपन का नाम सिद्धार्थ था। 29 वर्ष की आयु में परम ज्ञान की तलाश में अध्यात्म की राह पर अपने नवजात शिशु ‘राहुल’ और पत्नी ‘यशोधरा’ को त्याग कर तथा राजपाठ के सुखों को छोड़कर सिद्धार्थ बुद्ध बन गए। उनकी आध्यात्मिक शिक्षाएं बौद्ध धर्म की नींव हैं जो इंसान को नैतिकता, जागरूकता, शांति व ज्ञान की ओर ले जाती हैं।
ईसाई, मुस्लिम तथा हिंदू धर्म के बाद बौद्ध धर्म ही दुनिया का सबसे बड़ा धर्म है, जिसके अनुयाई Gautam Buddha की शिक्षाओं का पालन करते हैं। इस लेख में गौतम बुद्ध के 100 प्रेरणादायक अनमोल विचार दिए गए हैं।
भगवान गौतम बुद्ध का संक्षिप्त परिचय
Name | सिद्धार्थ गौतम |
Famous for | बौद्ध धर्म के संस्थापक |
Born | 563 ईसा पूर्व लुंबिनी, नेपाल |
Died | 483 ईसा पूर्व कुशीनगर, उत्तर प्रदेश, भारत |
Top 100 Gautam Buddha quotes in Hindi
1. “जिस इंसान का मन शांत है, जो बोलते समय और अपना काम करते समय शांत रहता है, वह वही व्यक्ति होता है जिसने सच को हासिल कर लिया है और जो सभी दुखों से मुक्त हो चुका है।”
–गौतम बुद्ध
2. “जो लोग क्रोधी विचारों से मुक्त होते हैं वे निश्चित रूप से शांति पाते हैं।”
–गौतम बुद्ध
3. “आपके पास जो कुछ भी है उसे बढ़ा चढ़ा कर मत बताइए, और ना ही दूसरों से ईर्ष्या कीजिए। जो दूसरों से ईर्ष्या करता है उसे मन की शांति नहीं मिलती।”
–गौतम बुद्ध
4. “सत्य के मार्ग पर चलते हुए कोई भी दो ही गलतियां कर सकता है– पूरा रास्ता तय न करना और दूसरी शुरुआत ही न करना।”
–गौतम बुद्ध
5. क्रोध को पाले रखना गर्म कोयले को किसी और पर फेंकने की नियत से पकड़े रहने के समान है, इसमें अपना हाथ ही जलता है।
–गौतम बुद्ध

6. “क्रोध को बिना क्रोधित हुए जीतो, बुराई को अच्छाई से जीतो, कंजूसी को दरियादिली से जीतो और असत्य बोलने वाले को सत्य बोलकर जीतो।”
–गौतम बुद्ध
7. “क्रोध कभी नहीं जाएगा जब तक कि क्रोध के विचारों को मन में रखा जाएगा। जैसे ही क्रोध के विचारों को भुला दिया जाएगा वैसे ही क्रोध गायब हो जाएगा।”
–गौतम बुद्ध
8. “मन और शरीर दोनों के लिए स्वास्थ्य का रहस्य है– अतीत पर शोक मत करो, न ही भविष्य की चिंता करो बल्कि बुद्धिमानी और इमानदारी से वर्तमान में जियो।
–गौतम बुद्ध
9. “अकेलेपन ऐसे व्यक्ति को खुशी देता है जो कि संतोषी है, जिसने धर्म के बारे में सुना है और उसे साफ तौर पर देखा है।”
–गौतम बुद्ध
10. “अनुशासनहीन मन से अधिक उद्दंड और कुछ भी नहीं है और अनुशासित मन से अधिक आज्ञाकारी और कुछ भी नहीं है।”
–गौतम बुद्ध
11. “दूसरे लोगों के दोषों को न देखें ना ही उनकी गलतियों को, इसके बजाय अपने खुद के कर्मों को देखे कि आप क्या कर चुके हैं और क्या करना अभी बाकी है।”
–गौतम बुद्ध
12. “एक विचारहीन मनुष्य की प्यास अमरबेल की तरह बढ़ती है। वह एक जीवन से दूसरे जीवन की तरफ उसी तरह से भागता है जैसे जंगल में एक बंदर फलों के लिए एक पेड़ से दूसरे पेड़ पर भागता रहता है।”
–गौतम बुद्ध
13. “मैं कभी नहीं देखता क्या किया गया है, मैं केवल ये देखता हूं कि क्या करना बाकी है।”
–गौतम बुद्ध
14. “किसी बात पर हम जैसे ही क्रोधित होते हैं, हम सत्य का मार्ग छोड़कर अपने लिए प्रयास करने लग जाते हैं।”
–गौतम बुद्ध
15. “इच्छाओं का कभी अंत नहीं होता। अगर आपकी एक इच्छा पूरी होती है तो दूसरी इच्छा तुरंत जन्म ले लेती है।”
–गौतम बुद्ध

16. “आप अपने गुस्से के लिए दंडित नहीं होते, आप अपने गुस्से के द्वारा दंडित होते हो।”
–गौतम बुद्ध
17. “मन सभी मानसिक अवस्थाओं के ऊपर होता है।”
–गौतम बुद्ध
18. “अगर आप उन चीजों की कद्र नहीं करते जो आपके पास है, तो फिर आपको खुशी कभी भी नहीं मिलेगी।”
–गौतम बुद्ध
19. “अगर आपको अच्छा साथी न मिले तो अकेले चले, उस हाथी की तरह जो कि अकेले ही जंगल में घूमता है। अकेले रहना कहीं अच्छा है बजाय उन लोगों के साथ के जो कि आपकी प्रगति में बाधा बनते हैं।”
–गौतम बुद्ध
20. “एक मोमबत्ती से हजारों मोमबत्ती जलाई जा सकती है। बांटने से खुशी कभी कम नहीं होती।”
–गौतम बुद्ध
Gautam Buddha quotes in Hindi 21-40
21. “सदैव अपने बराबर या अपने से समझदार व्यक्ति के साथ सफर करिए मूर्खों के साथ सफर करने से इच्छा है अकेले सफर करना।”
–गौतम बुद्ध
22. “अस्तित्व का पूरा रहस्य है डर से मुक्त हो जाना। कभी भी इस बात से ना करें कि आपका क्या होगा, किसी पर भी निर्भर ना रहें। जिस वक्त आप सभी तरह की मदद को इनकार कर देते हैं आप आजाद हो जाते हैं।”
–गौतम बुद्ध
23. “सभी व्यक्तियों को सजा से डर लगता है, सभी मौत से डरते हैं। बाकी जीवों को भी अपने जैसा ही समझिए खुद किसी जीव को न मारे और दूसरे को भी ऐसा करने से मना करें।”
–गौतम बुद्ध
24. “जिस तरह से एक तीर बेचने वाला अपनी तीर को सीधा करता है, उसी तरह से एक समझदार व्यक्ति खुद को साध लेता है।”
–गौतम बुद्ध
25. “अतीत पर ध्यान मत दो, भविष्य के बारे में मत सोचो, अपने मन को वर्तमान क्षण पे केंद्रित करो।”
–गौतम बुद्ध

26. “विश्वास के बिना आप कहीं भी नहीं पहुंच सकते, इसलिए अगर आप धर्म को पाना चाहते हैं तो विश्वास बहुत जरूरी है।”
–गौतम बुद्ध
27. “सच्चाई को अपनी जमीन बनाएं, सच्चाई को अपना घर बनाएं, क्योंकि दुनिया में इससे बड़ा कोई घर नहीं है।”
–गौतम बुद्ध
28. “सभी बुरे कार्य मन के कारण उत्पन्न होते हैं। अगर मन परिवर्तित हो जाए तो क्या अनैतिक कार्य रह सकते हैं।”
–गौतम बुद्ध
29. “जो व्यक्ति जीवन में केवल सुखों की तलाश करता है, जिसकी इंद्रियां अनियंत्रित हैं, जो खाने के लिए जीता है, वह आलसी और कमजोर है। लालच उसको उसी प्रकार से गिराता है, जैसे कि तूफान एक कमजोर पेड़ को गिरा देता है।”
–गौतम बुद्ध
30. “आपका काम है आप की पसंद के काम को खोजना। उसे खोजें और फिर उस काम में खुद को पूरी तरह से लगा दें। यही सफलता का मार्ग है।”
–गौतम बुद्ध
31. “जिसका मन एकाग्र होता है वही चीजों को उनके सही स्वरूप में देख पाता है।”
–गौतम बुद्ध
32. “दुनिया हमेशा से प्रशंसा करने और दोष निकालने का रास्ता ढूंढ़ती आई है, यही होता आया है, और यही होता रहेगा।”
–गौतम बुद्ध
33. “व्यक्ति खुद ही अपना सबसे बड़ा रक्षक हो सकता है, और कौन उसकी रक्षा कर सकता है? अगर आपका खुद पर पूरा नियंत्रण है, तो आपको वह क्षमता हासिल होगी, जिसे बहुत ही कम लोग हासिल कर पाते हैं।”
–गौतम बुद्ध
34. “बीता हुआ समय बीत चुका है, भविष्य अभी दूर है, वर्तमान पल ही वह समय है, जिसमें आप जी सकते हैं।”
–गौतम बुद्ध
35. “हमेशा याद रखें कि बुरा कर्म अपने मन में बोझ रखने के समान है।”
–गौतम बुद्ध

36. “यह सोचना अत्यंत हास्यप्रद है कि कोई दूसरा व्यक्ति आपको खुश या दुखी कर सकता है।”
–गौतम बुद्ध
37. “एक वफादार, गुणी, प्रतिष्ठित और धनी व्यक्ति जिस भी जगह जाता है वहां उसका सम्मान किया जाता है।”
–गौतम बुद्ध
38. “शांतिप्रिय लोग आनंद का जीवन जीते हैं। उन पर हार या जीत का कोई प्रभाव नहीं पड़ता।”
–गौतम बुद्ध
39. “कोई भी व्यक्ति सिर मुंडवाने से, परिवार से दूर हो जाने से या फिर एक जाति में जन्म लेने से संत नहीं बन जाता, जिस व्यक्ति में सच्चाई और विवेक होता है वही धन्य है, वही संत है।”
–गौतम बुद्ध
40. “स्वयं को जीतना दूसरों को जीतने से ज्यादा मुश्किल काम है।”
–गौतम बुद्ध
गौतम बुद्ध के प्रेरणादायक विचार 41-60
41. “परेशानी ये है कि तुम्हें लगता है तुम्हारे पास समय है।”
–गौतम बुद्ध
42. “हम अपने विचारों का ही परिणाम हैं। मन ही सब कुछ है। जो हम सोचते हैं, हम वही बन जाते हैं।”
–गौतम बुद्ध
43. “देखते समय सिर्फ देखें, सुनते समय केवल सुनें, महसूस करते समय सिर्फ महसूस करें और सोचते समय केवल सोचें, यही वास्तविक कर्म है।”
–गौतम बुद्ध
44. “पूरी दुनिया में इतना अंधेरा नहीं है, कि वह एक मोमबत्ती की रोशनी को मिटा सके।”
–गौतम बुद्ध
45. “जीवन में हजारों लड़ाइयां जीतने से अच्छा है कि तुम समय पर विजय प्राप्त कर लो। फिर जीत तुम्हारी होगी, इसे तुमसे कोई नहीं छीन सकता।”
–गौतम बुद्ध

46. “सच्चा प्यार समझ से पैदा होता है।”
–गौतम बुद्ध
47. “समझदार व्यक्ति वही कहलाता है जो धीरज रखने वाला, क्रोधित न होने वाला और निडर होता है।”
–गौतम बुद्ध
48. “असली खुशी सब कुछ प्राप्त करने में नहीं है, सब कुछ दे देने में।”
–गौतम बुद्ध
49. “जिस तरह तूफान एक मजबूत पत्थर को हिला नहीं पाता उसी तरह से महान व्यक्ति, तारीफ या आलोचना से प्रभावित नहीं होता।”
–गौतम बुद्ध
50. “हर दिन नया दिन होता है, इससे फर्क नहीं पड़ता कि बीता हुआ कल कितना मुश्किल था। आप हमेशा एक नई शुरुआत कर सकते हैं।”
–गौतम बुद्ध
51. “हमें अपनी गलतियों की सजा तुरंत भले न मिले पर समय के साथ कभी ना कभी अवश्य मिलती है।”
–गौतम बुद्ध
52. “अगर आपकी दिशा सही है, तो फिर चिंता की बात नहीं है। आपको बस इतना करना है कि आप चलते रहें।”
–गौतम बुद्ध
53. “जिस तरह लापरवाह रहने पर घास जैसी नरम चीज की धार भी हाथ को घायल कर सकती है, उसी तरह धर्म के असली स्वरूप को पहचानने में हुई गलती आपको नर्क के दरवाजे पर पहुंचा सकती है।”
–गौतम बुद्ध
54. “सबसे अंधेरी रात अज्ञानता है।”
–गौतम बुद्ध
55. “तीन चीजें ज्यादा देर तक नहीं छुप सकती सूर्य, चंद्रमा और सत्य।”
–गौतम बुद्ध

56. “हर सुबह हम पुनः जन्म लेते हैं, लेकिन हम आज क्या करते हैं यही सबसे अधिक मायने रखता है।”
–गौतम बुद्ध
57. “जैसे मोमबत्ती बिना आग के नहीं जल सकती, मनुष्य भी आध्यात्मिक जीवन के बिना नहीं जी सकता।”
–गौतम बुद्ध
58. “आप केवल वही खोते हैं, जिससे आप बंधे होते हैं।”
–गौतम बुद्ध
59. “एक जागे हुए व्यक्ति को रात बड़ी लंबी लगती है, एक थके हुए व्यक्ति को मंजिल बड़ी दूर नजर आती है। इसी तरह सच्चे धर्म से बेखबर मूर्खों के लिए जीवन मृत्यु का सिलसिला भी उतना ही लंबा होता है।”
–गौतम बुद्ध
60.“ यदि आप पर्याप्त शांत हैं, तो आपको ब्रह्मांड का प्रवाह सुनाई देगा। आप उसकी ताल महसूस कर पाएंगे। इस प्रभाव के साथ आगे चलते रहिए। आगे प्रसन्नता है। ध्यान महत्वपूर्ण है।”
–गौतम बुद्ध
Famous quotes of Gautam Buddha 61-80
61. “जिस तरह से आकाश में मिट्टी उछालने पर वह मुंह पर ही गिरती है उसी तरह से मूर्ख व्यक्ति जब अच्छे लोगों के साथ बुरा करने की कोशिश करते हैं, तो उनका खुद का ही बुरा होता है।”
–गौतम बुद्ध
62. “यदि समस्या का समाधान किया जा सकता है, तो चिंता क्यों करें? यदि समस्या का समाधान नहीं किया जा सकता तो चिंता करना आपको कोई फायदा नहीं पहुंचाएगा।”
–गौतम बुद्ध
63. “जो लोग सच्चाई की तलाश नहीं करते, वे जीवन जीने के असली उद्देश्य से भटक गए हैं।”
–गौतम बुद्ध
64. “हम जो कुछ भी हैं, वो हमने आज तक क्या सोचा है इस बात का परिणाम है। यदि कोई व्यक्ति बुरी सोच के साथ बोलता या काम करता है तो उसे कष्ट ही मिलता है। यदि कोई व्यक्ति शुद्ध विचारों के साथ बोलता या काम करता है तो उसकी परछाई की तरह खुशी उसका साथ कभी नहीं छोड़ती।”
–गौतम बुद्ध
65. “स्वास्थ्य सबसे बड़ा उपहार है, संतोष सबसे बड़ा धन है, वफादारी सबसे बड़ा संबंध है।”
–गौतम बुद्ध

66. “आकाश में पूर्व और पश्चिम का कोई भेद नहीं है, लोग अपने विचारों से भेद पदा करते हैं और फिर उनके सही होने पर यकीन कर लेते हैं।”
–गौतम बुद्ध
67. “कुछ भी स्थाई नहीं है।”
–गौतम बुद्ध
68. “नफरत किसी भी समय घृणा से नहीं मिटती है। प्रेम से नफरत समाप्त हो जाती है। यह अटल नियम है।”
–गौतम बुद्ध
69. “बुरे कर्मों से बचें, जो जीवन से प्रेम करता है वह जहर से बचता है।”
–गौतम बुद्ध
70. “ध्यान से ज्ञान प्राप्त होता है, ध्यान की कमी अज्ञानता लाती है। अच्छी तरह जानों क्या तुम्हें आगे ले जाता है और क्या तुम्हें रोके रखता है, और उस मार्ग को चुनो जो बुद्धिमत्ता की ओर ले जाता हो।”
–गौतम बुद्ध
71. “खुशी इस पर निर्भर नहीं करती कि आपके पास क्या है या आप क्या हैं। यह पूरी तरह से इस बात पर निर्भर करती है कि आप क्या सोचते हैं।”
–गौतम बुद्ध
72. “संसार में कोई भी चीज कभी भी अकेले मौजूद नहीं होती, हर एक चीज का संबंध तमाम दूसरी चीजों से होता है।”
–गौतम बुद्ध
73. “एक समझदार व्यक्ति अपने अंदर की कमियों को उसी तरह से दूर कर लेता है, जिस तरह से एक स्वर्णकार चांदी की अशुद्धियों को चुन चुन कर थोड़ा थोड़ा करके और इस प्रक्रिया को बार-बार दोहरा कर दूर कर लेता है।”
–गौतम बुद्ध
74. “हम जो शब्द बोलते हैं, उनका चुनाव हमें बड़ी सावधानी से करना चाहिए, क्योंकि उन शब्दों को सुनने वाले व्यक्तियों पर उनका प्रभाव पड़ता है फिर चाहे वह प्रभाव अच्छा हो अथवा बुरा।”
–गौतम बुद्ध
75. “आप चाहे जितने अच्छे शब्द पढ़ ले, सुन लें या बोल लें, यह शब्द आपका भला तब तक नहीं करेंगे जब तक आप इन्हें अपने जीवन में उपयोग में नहीं लाते।”
–गौतम बुद्ध

76. “अज्ञानी आदमी एक बैल के समान है, वह ज्ञान में नहीं आकार में बढ़ता है।”
–गौतम बुद्ध
77. “जिस काम को करने में वर्तमान में दर्द हो लेकिन भविष्य में खुशी उसे करने के लिए काफी अभ्यास की जरूरत होती है।”
–गौतम बुद्ध
78. “अपना उद्धार स्वयं ही करें दूसरों पर निर्भर न रहें।”
–गौतम बुद्ध
79. “किसी जंगली जानवर की अपेक्षा एक कपटी और दुष्ट मित्र से अधिक डरना चाहिए। जानवर तो बस आपके शरीर को नुकसान पहुंचा सकता है, पर एक बुरा मित्र आपकी बुद्धि को नुकसान पहुंचा सकता है।”
–गौतम बुद्ध
80. “संदेह की आदत से भयानक कुछ भी नहीं है। संदेह लोगों को अलग करता है। यह एक ऐसा जहर है जो दोस्ती को तोड़ देता है और सुखद संबंधों को तोड़ देता है। यह एक काटा है जो परेशान करता है और दर्द देता है। यह तलवार है जो मारती है।”
–गौतम बुद्ध
Gautam Buddha quotes in Hindi 81-100
81. “यदि आप किसी के लिए दिया जलाते हैं, तो यह आपका मार्ग भी रोशन करेगा।”
–गौतम बुद्ध
82. “ध्यान करो… देर मत करो, ऐसा न हो कि आपको बाद में पछताना पड़े।”
–गौतम बुद्ध
83. “जिसका मन वासनाओं से नहीं भरा है, उसे कोई भय नहीं है।”
–गौतम बुद्ध
84. “शांति भीतर से आती है, इसके बिना मत खोजो।”
–गौतम बुद्ध
85. “यदि आपको आध्यात्मिक पथ पर आपका साथ देने वाला कोई न मिले, तो अकेले चलिए। अपरिपक्व के साथ कोई साथी नहीं है।”
–गौतम बुद्ध
86. “पूरी दुनिया के प्रति असीम प्रेम बिखेरें।”
–गौतम बुद्ध
87. “वह व्यक्ति महान नहीं कहलाता जो जीवों को हानि पहुंचाता है। जीवों को हानि न पहुंचाने से मनुष्य श्रेष्ठ कहलाता है।”
–गौतम बुद्ध
88. “बूंद बूंद से घड़ा भरता है। इसी तरह बुद्धिमान व्यक्ति थोड़ा-थोड़ा करके खुद को अच्छाई से भर लेता है।”
–गौतम बुद्ध
89. “पवित्रता और शुद्धता स्वयं पर निर्भर करती है। कोई दूसरे को शुद्ध नहीं कर सकता।”
–गौतम बुद्ध
90. “अगर कुछ भी करने लायक है, तो उसे पूरे मन से करें।”
–गौतम बुद्ध
91. “क्रोध को थामें रहना जहर पीने और दूसरे व्यक्ति के मरने की उम्मीद करने के समान है।”
–गौतम बुद्ध
92. “जीभ एक तेज चाकू की तरह बिना खून निकाले मार देती है।”
–गौतम बुद्ध
93. “परिवर्तन के अलावा कुछ भी स्थाई नहीं है।”
–गौतम बुद्ध
94. “अगर हम मदद की जरूरत होने पर दूसरों की देखभाल करने में विफल रहते हैं, तो हमारी देखभाल कौन करेगा?”
–गौतम बुद्ध
95. “एक पल एक दिन को बदल सकता है, एक दिन एक जीवन बदल सकता है और एक जीवन पूरी दुनिया को बदल सकता है।”
–गौतम बुद्ध

96. “कोई भी चीज आपको उतना नुकसान नहीं पहुंचा सकती जितना कि आपके अपने विचार बिना सुरक्षा के।”
–गौतम बुद्ध
97. “हर इंसान अपने स्वास्थ्य या बीमारी का खुद लेखक है।”
–गौतम बुद्ध
98. “दुख का मूल मोह है।”
–गौतम बुद्ध
99. “किसी भी बात पर सिर्फ इसलिए विश्वास न करें क्योंकि आपने उसे सुना है। किसी भी बात पर सिर्फ इसलिए विश्वास न करें क्योंकि वह कई लोगों द्वारा बोली और अफवाह उड़ाई जाती है। किसी भी बात पर सिर्फ इसलिए विश्वास न करें क्योंकि वह आपकी धार्मिक पुस्तकों में लिखी हुई है। केवल अपने शिक्षकों और बड़ों के अधिकार पर किसी भी बात पर विश्वास न करें। परंपराओं में विश्वास न करें क्योंकि उन्हें कई पीढ़ियों से सौंप दिया गया है। लेकिन अवलोकन और विश्लेषण के बाद, जब आप पाते हैं कि कुछ भी तर्क से सहमत है और सभी के अच्छे और लाभ के लिए अनुकूल है, तो उसे स्वीकार करें और उस पर खरा उतरें।”
–गौतम बुद्ध
100. “वे चुप रहने वालों को दोष देते हैं, वे उन लोगों को दोष देते हैं जो बहुत बोलते हैं, वे उन्हें दोष देते हैं जो संयम से बोलते हैं। संसार में ऐसा कोई नहीं है जिस पर दोष न लगाया गया हो।”
–गौतम बुद्ध
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